जन्नत तू बन जा मेरी
मैं बनूं तेरा राही।
ख्वाब देखे हैं बस तुझे पाने के
ए मेरे माही।
तेरे जैसा ना कोई दूसरा
इस दुनिया में।
तो तेरे जैसा कोई
कैसे मांगू मैं खुदा से ?
बस तू है
बस तू ही एक है जिसे मैं चाहूं।
लगता है जैसे यह जमीन
तेरे ही गीत गाए।
आसमान भी
तेरा ही नाम गुनगुनाए।
पर है यह बस मेरा पागल दिल
जो तुझे चाहे।
जन्नत तू बन जा मेरी
मैं बनूं तेरा राही।
ए मेरे हमसफर
ए मेरे माही।

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